Sunday, 22 December 2024

लव आजकल - 7


विहान ने अपनी बाइक इशिका के घर के सामने लाकर रोकी। इशिका उस वक्त अपने कमरे की बालकनी में खड़ी होकर एक नॉवेल पढ़ रही थी। इशिका ने जब विहान को अपने घर के सामने देखा तो वो हैरान हो गई। 


इशिका विहान को वहीं रुकने का इशारा कर जल्दी से घर से बाहर आई और उससे पूछा, “तुम यहां क्या कर रहे हो और मेरे घर का एड्रेस कहां से मिला तुम्हें?” 


“जी विहान जिसे चाहता है, उसके बारे में वो अपने आप सब कुछ पता लगा लेता है और मैं यहां आपको डेट पर ले जाने आया हूं।” विहान ने उसकी आंखों में देखते हुए कहा। 


इशिका ने हैरानी और खुशी के मिले जुले भाव से उसे देखकर कहा, “पागल हो तुम। किसी ने तुम्हें देख लिया तो और ऐसे अचानक से डेट पर कौन लेकर जाता है।” 


“मैं ले जाना चाहता हूं और कोई भी हमें एक साथ देख ले। मुझे फर्क नही पड़ता। जब प्यार किया तो डरना क्या?” विहान ने मुस्कुराते हुए कहा तो इशिका ने हंसते हुए कहा, “कुछ ज्यादा ही फिल्मी डायलॉग्स नही आ रहे तुम्हें।“ 


विहान भी हंसने लगा और कहा, “अरे मोहतरमा, अब आपके साथ रहना है तो थोड़ा तो आपका अंदाज सीखना ही होगा।” 


विहान की बातें सुनकर इशिका हंसने लगी और उसने कहा, “मैं आती हूं रेडी होकर पर तुम मेरा यहां नही। थोड़ा आगे जाकर वेट करो।” 


“ठीक है लेकिन जल्दी आना।“ विहान ने बाइक स्टार्ट करते हुए कहा। 


“क्यों तुम मेरा इंतजार नही कर सकते?” इशिका ने पूछा। 


“वो तो मैं पूरी ज़िंदगी कर सकता हूं लेकिन इस वक्त मुझे तुम्हें डेट पर लेकर जाने की एक्साइटमेंट है।” विहान ने कहा और एक नजर इशिका को देखकर वहां से बाइक थोड़ी आगे ले गया। 


इशिका ने अंदर जाकर अपने पापा से कहा कि उसे किसी जरूरी काम से अपनी दोस्त के घर जाना है तो उसके पापा ने उसे जाने की परमिशन दे दी। इशिका अपने कमरे में तैयार होने चली गई। उसने जल्दी से ब्लू जीन्स के साथ एक बहुत ही खूबसूरत फूलों वाला टॉप पहना और हल्का सा मेकअप करने लग गई। वो अभी आईने के सामने खड़े होकर लिपस्टिक लगा ही रही थी की तभी उसके चाचा का लड़का, गौरव और उसकी बहन, रितिका वहां आई। 


“क्या बात है। बड़ा तैयार हुआ जा रहा था।” गौरव ने उसे देखते हुए कहा। 


“तुमसे मतलब।” इशिका ने लिपस्टिक नीचे रखते हुए उसे देखा और ईयररिंग्स पहनने लगी। गौरव वहां से चला गया लेकिन रितिका वहीं खड़ी रही। उसे ऐसे खड़ा देखकर इशिका ने पूछा, “तुम यहां ऐसे क्यों खड़ी हो?” 


“दीदी, आप उन भैया के साथ कहीं जा रहे हो ना जिनके साथ आप थोड़ी देर पहले बाहर खड़े थे?“ रितिका ने पूछा तो इशिका हैरान हो गई और उसने कहा, “अगर तुमने उसके बारे में किसी को बताया तो मैं मम्मी को बता दूंगी की तुम अपनी दोस्त के घर पढ़ाई करने नही, मजे करने गई थी।” 


“नही दीदी, मैं किसी को नही बताऊंगी बस आप मम्मी को उस बारे में मत बताना।” रितिका ने मासूमियत से कहा। 


“तुम उस लड़के के बारे में किसी को मत बताना और खासतौर पर उस गौरव को। मैं तुम्हारे बारे में नही बताऊंगी। बाय।” कहते हुए इशिका ने सैंडल पहने और कमरे से बाहर निकलकर नीचे आ गई। 


अपने पेरेंट्स से मिलकर वो घर से बाहर आकर विहान के पास पहुंची। विहान ने उसे देखकर कहा, “पूरे फोर्टी मिनट्स तक वेट करवाया है तुमने।” 


“तुम मिनट्स गिन रहे थे?” इशिका ने पूछा। 


विहान ने बाइक स्टार्ट करते हुए कहा, “मैं तो सेकेंड्स भी गिन रहा था। आओ बैठो।” 


इशिका ने मुस्कुराते हुए उसे देखा और फिर उसके पीछे बाइक पर बैठ गई। विहान ने बाइक चलानी शुरू की तो इशिका ने अपने हाथों को विहान के कंधो पर रख दिया जिससे विहान थोड़ा चौंका क्योंकि एक तो पहली बार कोई लड़की उसके पीछे उसकी बाइक पर बैठी थी और दूसरा, उसे पहली बार किसी लड़की ने ऐसे छुआ था। वो हैरान तो था पर उसे खुशी भी हो रही थी। 


इशिका उसके पीछे बैठे हुए एंजॉय कर रही थी। थोड़ी देर बाद विहान ने बाइक बीच के सामने रोकी और उसे पार्किंग में लगाकर इशिका के साथ अंदर आया। 


सनसेट का वक्त होने की वजह से इस वक्त समुद्र बहुत ही खूबसूरत लग रहा था। इशिका इस वक्त विहान को बहुत खुश लग रही थी। विहान ने इधर उधर देखा तो उसे एक नारियल पानी वाला दिखाई दिया जिसे देखकर उसे राज की कही हुई बात याद आ गई कि वो भी सिमरन के साथ डेट पर एक ही नारियल से नारियल पानी पीते थे। उसने इशिका को देखा और पूछा, “क्या तुम कोकोनट वाटर पीयोगी?” 


“यस, जाओ लेकर आओं।” इशिका ने कहा तो विहान मुस्कुराते हुए नारियल पानी लेने चला गया। दुकानवाले को नारियल पानी देने का बोलकर विहान ने पीछे मुड़कर इशिका को देखा तो बस देखता ही रह गया। इशिका मुस्कुराते हुए सूरज को देख रही थी और उसके बाल हवा में उड़ रहे थे। विहान को इस वक्त ऐसा लग रहा था कि आसपास की हवा थम सी गई है और इश्क की हवाएं चलने लग गई है। इशिका उस वक्त इतनी खूबसूरत लग रही थी की विहान उसे बिना पलके झपकाए देखे जा रहा था। वो उसे देखने में पूरी तरह से खो चुका था। 


दुकानदार के आवाज लगाने से उसकी तंद्रा टूटी। उसने उसे पैसे देकर उससे नारियल लिया और उसमें एक और स्ट्रा लगाकर इशिका के पास आया। 


इशिका एक ही नारियल में दो स्ट्रा देखकर मुस्कुरा उठी। विहान ने नारियल उसकी तरफ बढ़ाते हुए कहा, “लो पीयो।” 


इशिका उसके करीब आई और उसने कहा, “साथ में पीते है।” 


विहान मुस्कुरा उठा और वो दोनों एक साथ नारियल पानी पीने लगे। नारियल पानी पीते हुए इशिका ने विहान की आँखों में देखा तो विहान भी उसकी आँखों में खो सा गया और  उसे देखने लगा। 


इशिका ने उसे देखा और कहा, “क्या हुआ, विहान? क्या तुम्हें अच्छा नही लग रहा?”


“तुम बहुत खूबसूरत लग रही हो।“ विहान ने कहा तो इशिका शर्माते हुए नारियल पानी पीने लग गई और विहान बस उसे देखता रहा। 


उन दोनों ने नारियल पानी खत्म किया और फिर सूरज को देखने लगे। सनसेट को देखते हुए इशिका ने मुस्कुराकर धीरे से विहान का हाथ पकड़कर अपना सिर उसके कंधे पर रख दिया जिससे विहान हैरान हो गया।



Continued in लव आजकल - 8

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